जग जननी की जय जयकार - माँ दुर्गा पर कविता -
Best Poem on Maa Durga in Hindi
नोट :-
यह मनहरण छंद है । इसके धुन के लिए आप फोटो लिंक पर क्लिक करके वीडियो देखें ।
इधर - उधर की चिन्ता छोड़ ।
माँ चरणों से नाता जोड़ ।।
प्रेम से बोलो एक बार ।
जग जननी की जय - जयकार ।।
मत कर अपना मन कमजोर ।
देख रही माँ तेरी ओर ।।
लुटा रही हैं सबपे प्यार ।
इनकी महिमा अपरम्पार ।।
अन्तर्मन की आँखे खोल ।।
चरण पकड़ माँ की जय बोल ।
प्यारा माता का दरबार ।
इनसे ही जीवन गुलजार ।।
बात सभी कहते हैं एक ।
माता के हैं रूप अनेक ।।
करने से माता का ध्यान ।
बन जाती जग में पहचान ।।
© कवि आशीष उपाध्याय "एकाकी"
गोरखपुर , उत्तर प्रदेश
0 Comments
Please do not enter any spam link in the comment box.
Emoji